पंजाब के पूर्व डिप्टी सीएम और गुरदासपुर से सांसद सुखजिंदर सिंह रंधावा ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को एक महत्वपूर्ण पत्र लिखा है। उन्होंने प्रधानमंत्री से आग्रह किया है कि श्री अमृतसर साहिब को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर “नो वॉर ज़ोन” (युद्ध-मुक्त क्षेत्र) घोषित किया जाए। रंधावा का कहना है कि श्री हरमंदिर साहिब (स्वर्ण मंदिर) कोई आम धार्मिक स्थल नहीं है। यह सिख धर्म की आत्मा और शांति का प्रतीक है। इसकी पवित्रता और सम्मान को बनाए रखना हम सभी की जिम्मेदारी है। उन्होंने केंद्र सरकार से अपील की है कि इस मांग को राजनीति की नजर से न देखा जाए, बल्कि इसे शांति और मानवता के प्रतीक के रूप में माना जाए।
यह सिख धर्म का आध्यात्मिक केंद्र है: रंधावा
सांसद रंधावा ने अपने पत्र में लिखा कि श्री अमृतसर साहिब केवल एक शहर नहीं है, बल्कि यह सिख धर्म का आध्यात्मिक केंद्र है, जो पूरी दुनिया को प्रेम और शांति का संदेश देता है। इसकी पवित्रता सिर्फ धर्म के दायरे में नहीं बंधी, बल्कि यह पूरी मानवता के लिए एक प्रकाश-पुंज है। उन्होंने साफ किया कि उनकी ये मांग वेटिकन सिटी जैसी राजनीतिक संप्रभुता (अलग देश घोषित करने) के लिए नहीं है। बल्कि, यह मांग इस पवित्र स्थल को अंतरराष्ट्रीय आध्यात्मिक पहचान और स्थायी सुरक्षा देने के लिए की जा रही है।
‘युद्ध के माहौल के बीच अमृतसर की सुरक्षा जरूरी’
रंधावा ने यह भी कहा कि आज पूरी दुनिया में तनाव और युद्ध का माहौल बढ़ रहा है। ऐसे में यह बहुत जरूरी है कि श्री अमृतसर साहिब को हर तरह के युद्ध और हिंसा से हमेशा के लिए सुरक्षित रखा जाए। उन्होंने बताया कि गुरु ग्रंथ साहिब की शिक्षाएं शांति, विनम्रता और “सरबत दा भला” यानि सबका भला जैसे सिद्धांतों को बढ़ावा देती हैं और यह पूरी दुनिया में युद्ध के माहौल के खिलाफ एक नैतिक ताकत बन सकती हैं। हाल ही में भारत-पाकिस्तान के बीच बढ़े तनाव को लेकर भी चिंता जताई गई है। ऐसे में श्री अमृतसर साहिब की सुरक्षा को लेकर सिख समुदाय और नागरिक समाज में चिंता बढ़ गई है। सांसद रंधावा ने कहा कि अब समय आ गया है कि श्री अमृतसर को बचाने के लिए एक अंतरराष्ट्रीय योजना और ढांचा तैयार किया जाए, जो हर हाल में इसकी पवित्रता और सुरक्षा की गारंटी दे सके।
‘अमृतसर उतना ही पवित्र जितना मक्का और वेटिकन सिटी’
उन्होंने यह भी कहा कि जैसे मक्का मुसलमानों के लिए और वेटिकन ईसाइयों के लिए पवित्र है, उसी तरह अमृतसर सिखों के लिए उतना ही पवित्र है। इसलिए, इसकी सुरक्षा भी उसी स्तर पर की जानी चाहिए। अंत में उन्होंने पीएम मोदी से अपील की कि वे श्री अमृतसर साहिब को “नो वॉर ज़ोन” घोषित करने के लिए कूटनीतिक और कानूनी कदम उठाएं और इसके लिए अंतरराष्ट्रीय संगठनों के साथ मिलकर स्थायी सुरक्षा का ढांचा तैयार करें।
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